Interview RSS Feed
Subscribe Magazine on email:    

मैं ‘प्रेममयी’ में सेक्सी नहीं दिखना चाहती थी : श्रेया नारायण

i did not want to look sexy in premmayee says sherya narayan
द्वारा: गौरी पालीवाल

‘साहब बीवी और गैंगस्टर’ में महुआ के किरदार से सुर्खियों में आयीं बॉलीवुड अभिनेत्री श्रेया नारायण एक बार फिर बिलकुल अलग अंदाज के किरदार को रुपहले पर्दे पर जीने को तैयार हैं। फिल्म प्रेममयी में श्रेया ने एक आईपीएस अधिकारी का किरदार निभाया है, जिसे घरेलू मोर्चे पर भी एक बड़ी जंग लड़नी पड़ती है। प्रेममयी 12 अक्टूबर को रिलीज हो रही है। उनसे खास बात-


सवाल-प्रेममयी फिल्म में आपका किरदार क्या है?

जवाब-प्रेममयी फिल्म में मेरा किरदार एक आईपीएस अधिकारी पायल मिश्रा का है। समाज में आईपीएस अधिकारी के बारे में आम धारणा यही होगी कि इससे मजबूत कौन होगा? लेकिन, रिश्तों के जाल में फँसकर कैसे एक महिला सशक्त पुलिस अधिकारी भी घरेलू मोर्चे पर जूझती है। प्यार का नाम देकर उस पर बंदिशें लगाई जाती हैं और कैसे वह अपनी राह चुनती है-यह मेरे किरदार से दिखता है।

 

सवाल-साहब बीवी और गैंगस्टर में आपका किरदार सैक्सी था? इस बार भी क्या ऐसा देखने को मिलेगा?


जवाब-इस फिल्म में महुआ की झलक भी नहीं मिलेगी। मैं इस फिल्म में सैक्सी दिखना ही नहीं चाहती थी क्योंकि तब दर्शकों की सिंपथी नहीं हासिल कर पाती, जो किरदार की माँग है। मैंने जानबूझकर अपना कुछ वजन बढ़ाया ताकि सही मायने में रोल के साथ न्याय कर सकूं।


सवाल- आईपीएस अधिकारी को रोल निभाने के लिए क्या आपने कोई ट्रेनिंग ली?


जवाब-पायल मिश्रा का रोल एक आईपीएस अधिकारी से ज्यादा एक महिला का है। जिसकी शादी को तीन साल हो चुके हैं, और प्यार के नाम पर उसके साथ अन्याय हो रहा है। उसकी व्यथा,वेदना की कहानी है। कई बार ऱिश्तों में ऐसा मोड़ आता है, जब आप सोचते हैं कि रिश्ते के लिए मैं सब कुछ कर रही हूं,लेकिन फिर भी हालात ठीक नहीं हो रहे। इसका मतलब है कि मेरे अंदर ही कुछ कमी है। यानी आप खुद को दोष देने लगते हैं। आप इंतज़ार करते हैं कि कोई आए और हालात से निकाले। असल जिंदगी में ऐसा अमूमन होता नहीं है लेकिन फिल्म में पायल की जिंदगी में निर्वाण का आगमन होता है, जो किरदार संजय सूरी ने निभाया है।


सवाल-फिल्म की कहानी के बारे में कुछ बता सकती हैं?


जवाब-प्रेममयी फिल्म की कहानी की शुरुआत यूपीएससी के इम्तिहान की तैयारी कर रहे कुछ छात्रों की जिंदगी से होती है। इस ग्रुप में अरुण एक लड़का है,जो बहुत शानदार बोलता है और उसमें लीडरशिप क्वालिटी दिखायी देती है। पायल एक छोटे शहर की लड़की है,और आम लड़कियों की तरह है। वो अरुण से प्यार करती है क्योंकि वो ईमानदार, मेहनती और अलग सोच रखने वाला व्यक्ति है। मेधा एक रुढिवादी परिवार की लड़की है, जो अपने माता पिता का अहसान इसलिए भी मानती है क्योंकि उन्हेंने उसे बाहर पढ़ने भेजा। मेधा परिवार की इच्छा के मुताबिक एक लड़के से शादी कर लेती है। शादी की पहली रात लड़का उसकी वर्जिनिटी पर सवाल उठाता है। मेधा पढ़ी लिखी लड़की है, लेकिन अपने पति के व्यवहार से क्षुब्ध होकर खुदकुशी का रास्ता अपनाती है। सभी दोस्तों को इस खबर से झटका लगता है और अरुण ऐलान करता है कि वो कभी शादी नहीं करेगा। अरुण के इस फैसले से पायल को झटका लगता है। इसी बीच, यूपीएससी का नतीजा आता है। पायल आईपीएस के लिए चुन ली जाती है, और अरुण रह जाता है। ऐन मौके पर अरुण पायल से कहता है कि उसके सभी सिद्धांत पायल के प्यार के आगे कमजोर हैं और वह पायल से शादी करने के लिए तैयार है। दोनों शादी कर लेते हैं। लेकिन, शादी के बाद अरुण प्यार के नाम पर कैसे पायल की जिंदगी के हर छोटे-बड़े फैसले में दखल देता है और कैसे उसकी जिंदगी को इस कदर उलझा देता है कि उसकी पेशेगत जिंदगी भी दोराहे पर खड़ी हो जाती है-यह फिल्म की मूल कहानी है। अरुण का किरदार चंद्रचूड सिंह ने निभाया है। असमंजस में फँसी पायल की जिंदगी को पटरी पर लाने का काम उससे दो साल सीनियर अधिकारी निर्वाण ठाकुर करता है, जो किरदार संजय सूरी ने निभाया है।


सवाल-यह आपके करियर का सबसे बेहतरीन रोल है।
 
जवाब-निश्चित रुप से। मैं कहूंगी कि बॉलीवुड में काम कर रही सभी लड़कियां इस तरह का रोल चाहती हैं। बॉलीवुड में लड़कियों के लिए अमूमन रोल लिखे नहीं जाते। लड़कियों का काम सिर्फ सुंदर दिखना या कुछ गानों तक सीमित होता है। लेकिन, इस फिल्म में एक लड़की का अंतर्द्वंद दिखाया गया है। कई शेड्स हैं पायल की भूमिका में।

सवाल-संजय सूरी और चंद्रचूड़ सिंह के साथ काम करना कैसा अनुभव रहा।

जवाब-बहुत अच्छा। चंद्रचूड़ के साथ काम करना मजेदार है। आप उनके साथ कभी भी कुछ भी डिस्कस कर सकते हैं। वो अच्छा काम करने के लिए बेकरार रहते हैं। संजय सूरी छोटी छोटी बातों पर बहुत ध्यान देते हैं। वह बहुत प्रोफेशनल हैं। वह खुद प्रोड्यूसर भी हैं तो उनका ध्यान छोटी चीजों पर भी रहता है। शूटिंग के दौरान हस भी के बीच बेहतर समझ थी...। आपस में खूब पटी हम लोगों की।

सवाल-निर्देशक सुधांशु शेखर ने ही आपको बॉलीवुड में ब्रेक दिया था। उनके साथ कैसा अनुभव रहा।

जवाब-जी हां, उनसे पहले से एक कनेक्शन था। लेकिन, उस फिल्म को अच्छी रिलीज नहीं मिली थी। वो उनकी पहली फिल्म थी। लेकिन, इस फिल्म को देखकर कोई नहीं कह सकता कि उनकी दूसरी फिल्म है। वह अब मंजे निर्देशक हैं। सच कहूं तो जब फिल्म बन रही थी तब किसी को समझ नहीं आ रहा था कि वह क्या बनाना चाह रहे हैं। लेकिन, जब हम सभी ने फिल्म देखी तो लगा कि उनके दिमाग में हर बात बहुत साफ थी।

More from: Interview
33270

ज्योतिष लेख

मकर संक्रांति 2020 में 15 जनवरी को पूरे भारत वर्ष में मनाया जाएगा। जानें इस त्योहार का धार्मिक महत्व, मान्यताएं और इसे मनाने का तरीका।

Holi 2020 (होली 2020) दिनांक और शुभ मुहूर्त तुला राशिफल 2020 - Tula Rashifal 2020 | तुला राशि 2020 सिंह राशिफल 2020 - Singh Rashifal 2020 | Singh Rashi 2020